राकेश टिकैत का तालिबानी चेहरा हुआ बेनकाब, लखीमपुर खीरी में लिंचिंग को जायज ठहराया

एजेंडाधारी राकेश टिकैत ने जिन खालिस्तानियो के साथ मिलकर किसानो के नाम पर लखीमपुर खीरी में दंगा भडकाने की जो साजिश रची उसमें इस पूरी घटना में 8 आठ लोगों की मौत हो गई थी। जिसमें भाजपा कार्यकर्ता और एक पत्रकार शामिल हैं। लेकिन लखीमपुर खीरी का यह बवाल थमने का नाम नही ले रहा है। अब राकेश टिकैत के एक बयान से फिर से बवाल बढ़ा दिया है।
दिल्ली में एजेंडाधारी राकेश टिकैत ने प्रेस क्लब में मीटिंग के दौरान यह बात कही उन्होने कहा कि लखीमपुर खीरी हिंसा के दौरान भाजपा कार्यकर्ताओं की लिंचिंग को वह गलत नहीं मानते। उन्होंने कहा, "जो हुआ वो गलत नहीं था। मैं उनको दोषी नहीं मानता।"उनका कहना है कि पीट-पीट कर मारना उनकी नजर में हत्या नहीं है।
#WATCH: वे कौन थे जो गाड़ी में थे, जिन्होंने लोगों को मारा... जिन्होंने बाद में लाठी से हमला किया वह एक्शन का रिएक्शन है। कोई योजना नहीं है। वो हत्या में नहीं आता, हम उन्हें दोषी नहीं मानते: किसान नेता राकेश टिकैत, लखीमपुर खीरी हिंसक घटना पर बोलते हुए pic.twitter.com/IVJ8lAdoGd
— ANI_HindiNews (@AHindinews) October 9, २०२१
टिकैत ने कहा कि लखीमपुर में भाजपा कार्यकर्ताओं की हत्या करने वालों को दोषी मत समझो, उन्होंने केवल प्रदर्शनकारियों के ऊपर एसयूवी चढ़ाए जाने की प्रतिक्रिया में ऐसा किया। वह हत्या में नहीं आता है। उन्होंने कहा कि भाजपा कार्यकर्ताओं की पीट-पीट कर हत्या करना केवल 'एक्शन का रिएक्शन'था। कोई प्लानिंग नहीं थी। यानि खालिस्तानियो की हत्या हो तो यह नेता छाती पीट पीटकर रोते है। लेकिन अगर लिचिंग हो रही है तो उसे जायज ठहराया जा रहा है। यानि राकेश टिकैत लिचिंग को जायज ठहरा रहे है।
बता दें कि यह वही टिकैत है जो लखीमपुर खीरी में प्रर्दशनकारियो की मौत छाती पीट -पीटकर रो रहे थे उनकी तरफ से मांग की जा रही थी उनके लिए १ करोड़ का मुआवजा सरकार दें । लेकिन बीजेपी कार्यकर्ताओ के लिए इस तरह का शर्मनाक बयान राकेश टिकैत के तालिबानी चेहरे को बेनकाब करता है। राकेश टिकैत के अनुसार लखीमपुर में पीट-पीट कर मार दिए गए 4 लोगों के परिवार वालों की FIR भी दर्ज नहीं की जानी चाहिए क्योंकि वो तो "आदमखोर" थे। यहां राकेश टिकैत खुलेआम लिंचिंग को सही ठहरा रहे हैं।
सिर्फ इतना ही नही संयुक्त किसान मोर्चा नेता योगेंद्र यादव 18 अक्टूबर को रेल रोको का आह्वान किया है। संयुक्त किसान मोर्चा की माँग है कि जल्द ही लखीमपुर खीरी हिंसा मामले में जल्द ही अजय मिश्रा टेनी और मुख्य आरोपित उनके बेटे आशीष मिश्रा की गिरफ्तारी हो। इसके साथ ही वह अजय टेनी को केंद्रीय गृह राज्यमंत्री पद से बर्खास्त करने की भी माँग कर रहे हैं। वहीं योगी सरकार पर आरोप लगाते हुए संयुक्त किसान मोर्चा ने कहा कि सरकार पावरफुल लोगों को बचाने में जुटी हुई है।
15 अक्टूबर को पुतला दहन होगा। 18 अक्टूबर को 6 घंटे ट्रेन रोकी जाएगी। 26 अक्टूबर को बैठक होगी और पूरे देश में उनकी कलश यात्राएं निकलेंगी: लखीमपुर खीरी की घटना पर किसान नेता राकेश टिकैत pic.twitter.com/I13AM01I5u
— ANI_HindiNews (@AHindinews) October 9, 2021
इधर संयुक्त किसान मोर्चा ने लखीमपुर खीरी हिंसा के विरोध में 15 अक्टूबर को पुतला दहन का ऐलान किया है। किसान नेता राकेश टिकैत का कहना है कि हिंसा का विरोध जताते हुए वह दशहरे के दिन पीएम मोदी और गृह मंत्री अमित शाह का पुतला जलाएँगे। राकेश टिकैत ने ऐलान किया है कि 26 अक्टूबर को संयुक्त किसान मोर्चा बैठक कर पूरे देश में कलश यात्राएँ निकालेगा। इसके साथ ही 18 अक्टूबर को किसान संगठन 6 घंटे ट्रेन रोकेंगे।
Lakhimpur Kheri violence | Samyukt Kisan Morcha will take out 'Kalash Yatra' in all the districts of Uttar Pradesh starting Oct 12. 'Rail Roko' agitation will be held on Oct 18 and a 'mahapanchayat' in Lucknow on Oct 26: Yogendra Yadav pic.twitter.com/HPG8f9UV0b
— ANI (@ANI) October 9, 2021