जम्मू-कश्मीर विधानसभा चुनाव होगे जल्द, विधानसभा में कश्मीरी पंडितों को प्रतिनिधित्व देने की तैयारी में परिसीमन आयोग !
जम्मू कश्मीर से आर्टिकल 370 खत्म करने के बाद अब विधानसभा चुनाव की सुगबुगाहट तेज हो गई है। जम्मू कश्मीर राज्य के पुनर्गठन के बाद परिसीमन की प्रक्रिया चल रही है। जो लगभग पूरा होने जा रही है। वहीं केंद्र शासित प्रदेश जम्मू कश्मीर के परिसीमन के लिए गठित आयोग का कार्यकाल 6 मई को खत्म हो रहा है। माना जा रहा है कि परिसीमन आयोग 6 मई से पहले जम्मू कश्मीर के परिसीमन की प्रक्रिया पूरी कर अपनी रिपोर्ट सौंप देगा।
बड़ी जानकारी निकलकर सामने आई है कि परिसीमन आयोग की ओर से केन्द्र से जम्मू- कश्मीर विधानसभा में कश्मीरी पंडितों के लिए प्रतिनिधित्व की सिफारिश की जा सकती है। मीडिया रिर्पोट के हवाले से जो जानकारी सामने आ रही है उसके मुताबिक परिसीमन आयोग की ओर से कश्मीरी पंडितों के लिए मतदान के अधिकार की भी सिफारिश कर सकता है। जानकारी के मुताबिक परिसीमन आयोग पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर के विस्थापित लोगों को भी विधानसभा में प्रतिनिधित्व देने की भी सिफारिश कर सकता है।
जम्मू-कश्मीर विधानसभा में कश्मीरी पंडितों और पीओजेके विस्थापितों को प्रतिनिधित्व देने की तैयारी! परिसीमन आयोग केंद्र से करेगा सिफारिश!
— Deepak Chaurasia (@DChaurasia2312) May 5, 2022
बीजेपी के जम्मू कश्मीर के प्रवक्ता रणबीर सिंह पठानिया और कश्मीरी पंडित , राजनीतिक कार्यकर्ता अश्विनी चरंगू ने कहा कि कश्मीरी पंडितों को जम्मू कश्मीर की विधानसभा में प्रतिनिधित्व और मतदान का अधिकार मिलने की उम्मीद है।
वहीं जम्मू कश्मीर से बड़ी खबर यह भी सामने आ रही है परिसीमन की प्रक्रिया लगभग पूरी हो चुकी है। अब राज्य में विधानसभा चुनाव इस साल अक्टूबर में सर्दी शुरू होने से पहले या अगले साल फरवरी 2023 में सर्दियों के खत्म होने के बाद होंगे।
J&K News
— News Arena (@NewsArenaIndia) May 5, 2022
Assembly Elections in state will be held before winter starts this year in October or after winter comes to end next year in February 2023.
बता दें कि यह खबर जम्मू कश्मीर की स्थानीय पार्टिया नेशनल कॉन्फ्रेंस और पीडीपी के लिएम मुश्किले बढ़ा सकती है। जब से जम्मू - कश्मीर का विशेष राज्य का दर्जा खत्म किया गया है। उसके बाद से लगातार महबूबा मुफ्ती केन्द्र सरकार पर निशाना साध रही है। सिर्फ इतना ही नहीं परिसीमन का विरोध भी कर रही है। पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी की अध्यक्ष महबूबा मुफ्ती ने कहा है कि जम्मू-कश्मीर के लोगों को अपने दिल की बात कहने का भी अधिकार नहीं है। परिसीमन आयोग भाजपा के इशारे पर काम कर रहा है। इससे भाजपा अपने निर्वाचन क्षेत्रों को मजबूत करना चाहती है। उनका मकसद बहुसंख्यक समुदायों को शक्तिहीन करना है।
Shipra Saini
News Anchor