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शिवसेना ने अपने 12 बागी विधायकों की सदस्यता रद्द करने की कि मांग, शिंदे ने दिया जवाब आप हमें डरा नहीं सकते

शिवसेना ने अपने 12 बागी विधायकों की सदस्यता रद्द करने की कि मांग, शिंदे ने दिया जवाब आप हमें डरा नहीं सकते
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महाराष्ट्र में जारी सियासी संकट के बीच शिवसेना ने अपने 12 बागी विधायकों के खिलाफ सदस्यता रद्द करने की मांग की है। शिवसेना के नवनियुक्त विधायक दल के नेता अजय चौधरी ने महाराष्ट्र विधानसभा के उपाध्यक्ष को पत्र लिखकर उन विधायकों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है जो विधायक दल की बैठक में शामिल नहीं हुए थे।

दरअसल मंगलवार को एकनाथ शिंदे के बगावत करने के बाद शिवसेना ने शिंदे को महाराष्ट्र विधानसभा में पार्टी के विधायक दल के नेता के पद से हटा दिया था। शिंदे की जगह अजय चौधरी को विधायक दल का नेता बनाया गया था। इसके बाद शिवसेना की ओर से बुधवार को व्हिप जारी कर विधायकों को विधायक दल की बैठक में बुलाया गया था। जिसमें बागी विधायक नहीं पहुंचे थे।

इसी को लेकर अब अजय चौधरी ने महाराष्ट्र विधानसभा के उपाध्यक्ष को पत्र लिखकर उन विधायकों के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की है जो बैठक में शामिल नहीं हुए थे. एकनाथ शिंदे समेत शिवसेना के 12 बागी विधायकों के खिलाफ सदस्यता रद्द करने की याचिका दी गई है। विधायको के नाम भी सामने आए है जिसमें अब्दुल सत्तार, संदीपान भुमरे, प्रकाश सुर्वे, तानाजी सावंत, महेश शिंदे, अनिल बाबर, यामिनी जाधव, संजय शिरसाट, भरत गोगावले, बालाजी किणीकर और लता सोनावणे शामिल है।

वही इस मामले पर शिवसेना के सांसद अरविंद सावंत ने कहा है कि हमने डिप्टी स्पीकर के समक्ष याचिका दायर की है और मांग की है कि 12 विधायकों की सदस्यता रद्द कर दी जानी चाहिए क्योंकि वे कल की बैठक में शामिल नहीं हुए थे। उन लोगों ने गलत किया है इसलिए ये नौबत आई है। उनकी सदस्यता रद्द होगी, हमारी नहीं होगी, नौबत उन पर आई है। उन्होंने खुद ये आ बैल मुझे मार वाली स्थिति पैदा की है। हमने नोटिस देकर बोल दिया था कि आपके ऊपर कानूनी कार्रवाई करेंगे।जो कानूनन ठीक नहीं है वह कैसे होगा। हां कुछ लोग जरूर वापस आना चाहते हैं, उनको अवसर दे दिया है।

वहीं शिवसेना के इस एक्शन पर एकनाथ शिंदे का बयान भी सामने आया है। शिंदे ने कहा कि 12 विधायकों के खिलाफ कार्रवाई की अर्जी देकर आप हमें डरा नहीं सकते। क्योंकि हम आदरणीय शिवसेना प्रमुख बालासाहेब ठाकरे के असली शिवसेना और शिव सैनिक हैं।आप किसे डराने की कोशिश कर रहे हैं? हम आपके निर्माण और कानून को भी जानते हैं। संविधान की 10वीं अनुसूची के अनुसार व्हिप विधानसभा कार्य के लिए है, बैठकों के लिए नहीं। इस बारे में सुप्रीम कोर्ट के कई फैसले हैं।

वहीं शिवसेना के सांसद संजय राउत ने उद्धव सरकार पर मंडराये संकट को लेकर उनकी तिलमिलाहट सामने आई है। शिवसेना नेता संजय राउत ने कहा कि एकनाथ शिंदे गुट जो हमें चुनौती दे रहा है, उसे यह महसूस करना चाहिए कि शिवसेना के कार्यकर्ता अभी सड़कों पर नहीं उतरे हैं। इस तरह की लड़ाई या तो कानून के जरिए लड़ी जाती है या सड़कों पर। जरूरत पड़ी तो हमारे कार्यकर्ता सड़कों पर उतरेंगे।

Shipra Saini

Shipra Saini

News Anchor


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