जेएनयू में धरना देना पड़ेगा महंगा, हिंसा करने पर रद्द होगा एडमिशन, JNU ने तैयार कर दी उपद्रवी कार्यों की लिस्ट

Update: 2023-03-02 09:43 GMT

दिल्ली के जवाहरलाल नेहरु विश्वविद्यालय में अब धरना, आंदोलन और उपद्रव करना  काफी महंगा पड़ने वाला है। जेएनयू प्रशासन ने इसके लिए नए नियम जारी किए हैं। नए नियमों के अनुसार, परिसर में धरना देने पर छात्रों पर 20,000 रुपये का जुर्माना और हिंसा करने पर उनका दाखिला रद्द किया जा सकता है या 30,000 रुपये का जुर्माना लगाया जा सकता है। इसके अलावा कैंपस, हाॅस्टल, क्लासरूम में तोड़फोड़, मारपीट या हिंसा पर दाखिला रद्द हो जाएगा। जेएनयू एक्ट 2023 संशोधित 3 फरवरी से लागू हो चुके हैं। इसमें छह बिंदूओं पर छात्रों के लिए नए नियम निर्धारित किए गए हैं। यह नियम फुल टाइम डिग्री प्रोग्राम के अलावा शॉर्ट टाइम कोर्स वाले सभी छात्रों पर लागू होंगे।

जेएनयू संशोधित एक्ट 2023 के 10 पन्नों में 'जेएनयू के छात्रों के अनुशासन और उचित आचरण के नियम' में अलग तरह के कृत्यों जैसे विरोध और जालसाजी के लिए दंड और प्रॉक्टोरियल जांच और बयान दर्ज करने की प्रक्रिया का प्रावधान किया गया है। दस्तावेज के मुताबिक, नियम 3 फरवरी को लागू हुए हैं।

बता दें कि जेएनयू कैंपस में अक्सर विरोध धरना, प्रदर्शन और मारपीट और हिंसा की घटनाएं होती रहती हैं। इसी कारण विश्वविद्यालय प्रशासन ने सख्ती से निपटने को लेकर जेएनयू एक्ट में संशोधन किया है। यह नए नियम कार्यकारी परिषद द्वारा अनुमोदित किए हैं, जोकि विश्वविद्यालय की सर्वोच्च निर्णय लेने वाली संस्था है। दस्तावेज में कहा गया है कि नियम विश्वविद्यालय के सभी छात्रों पर लागू होंगे, जिनमें अंशकालिक छात्र भी शामिल हैं, चाहे इन नियमों के शुरू होने से पहले या बाद में एडमिशन दिया गया हो।

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