UNSC में स्थायी सदस्यता के लिए रूस ने भारत का किया समर्थन, विदेश मंत्री एस जयशंकर ने कहा हम बड़ी जिम्मेदारी लेने को तैयार

Update: 2022-09-25 08:23 GMT

रूस ने एक बार फिर भारत के साथ दोस्ती निभाई है। रुस ने एक बार फिर संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के स्थाई सदस्य के लिए भारत का समर्थन किया है। तो वहीं एस जयशंकर ने संयुक्त राष्ट्र महासभा के 77वें सत्र को संबोधित करते हुए कहा कि हम बड़ी जिम्मेदारी लेने को तैयार है। 

रूस के विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव ने संयुक्त राष्ट्र में भारत की स्थाई सदस्यता की सिफारिश की है। उन्होंने 77वीं संयुक्त राष्ट्र महासभा को संबोधित करते हुए कहा है कि भारत एक प्रमुख अंतरराष्ट्रीय देश है, इसलिए स्थाई सदस्यता के लिए विचार किया जाना चाहिए। उन्होंने महासभा को संबोधित करते हुए कहा, 'हम अफ्रीका, एशिया और लैटिन अमेरिका के देशों के प्रतिनिधित्व के माध्यम से सुरक्षा परिषद को अधिक लोकतांत्रिक बनाने की संभावना को देखते हैं। विशेष रूप से भारत और ब्राजील प्रमुख अंतरराष्ट्रीय देश हैं, इसलिए इन दोनों देशों की स्थाई सदस्यता के लिए विचार किया जाना चाहिए।'

इससे पहले यूक्रेन के राष्ट्रपति जेलेंस्की ने भी संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में भारत को अब तक स्थाई सदस्य नहीं बनाए जाने पर अपनी भड़ास निकाली । उन्होंने सवाल किया कि ऐसा क्या कारण है कि भारत और यूक्रेन जैसे देश को अब तक यूएएनएससी का स्थाई सदस्य नहीं बनाया गया। जबकि भारत समेत यूक्रेन, ब्राजील, जर्मनी और जापान जैसे देश इसकी स्थाई सदस्यता के पूरे हकदार हैं। मगर अब तक स्थाई सदस्य नहीं बनाए जाने के कारण क्या हैं?... उन्होंने आगे कहा कि एक दिन ऐसा जरूर आएगा, जब यह मसला हल होगा। वहीं अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन समेत रूस, ब्रिटेन और फ्रांस भी भारत को स्थाई सदस्यता  दिए जाने के पक्ष में हैं। 

वहीं विदेश मंत्री एस जयशंकर ने संयुक्त राष्ट्र महासभा के 77वें सत्र को संबोधित करते हुए चीन और पाकिस्तान दोनों पड़ोसी मुल्‍कों को आतंकवाद को लेकर निशाने पर लिया। उन्होने कहा कि आतंकवाद के किसी भी कृत्य को कतई जायज नहीं ठहराया जा सकता। संयुक्त राष्ट्र में आतंकियों का बचाव करने वाले देश ना तो अपने हितों और ना ही अपनी प्रतिष्ठा को ध्यान में रख रहे हैं। 

साथ ही विदेश मंत्री ने आतंकवाद को बढ़ावा देने वाले देशों को सीधी चेतावनी भी दी। उन्‍होंने कहा कि भारत सीमा पार आतंकवाद से पीड़ित है। भारत आतंकवाद को किसी भी रूप में बर्दाश्त नहीं करने वाला। इसके साथ ही उन्‍होंने संयुक्त राष्ट्र से आतंकवाद को बढ़ावा देने वाले मुल्‍कों और आतंकियों को बचाने वालों के खिलाफ कठोर कार्रवाई किए जाने की मांग की है।

साथ ही संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में सुधार के साथ भारत की स्थायी सीट की मांग करते हुए कहा कि हम बड़ी जिम्मेदारी लेने को तैयार है। भारतीय विदेश मंत्री ने अपने संबोधन में महीनों से जारी यूक्रेन संघर्ष के मसले पर भारत का पक्ष रखते हुए शांति कायम करने की अपील की। 

Tags:    

Similar News